*प्रदेशभर में 01 अप्रैल से जन आधार कार्ड से अब ओपीडी/आईपीडी/जांच/दवा की निशुल्क सेवाएं*
झुंझुनूं 31 मार्च 22 पीएमओ एवं वरिष्ठ शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ वीडी बाजिया ने बताया कि राज्य सरकार के आदेशानुसार सभी चिकित्सा संस्थानों में जन आधार या अन्य कार्ड से ओपीडी एवं आईपीडी की सेवाएं राजस्थान के मूल निवासियों के लिए निशुल्क रहेंगी।
उक्त हेतु रजिस्ट्रेशन शुल्क/दवा/जांच के शुल्क को भी बंद कर दिया गया है।
वरिष्ठ शिशु रोग विशेषज्ञ एवं बीडीके अस्पताल के मुख्यमंत्री निःशुल्क दवा योजना के नोडल अधिकारी ने बताया कि सभी चिकित्सकों को दवा वितरण केन्द्र पर उपलब्ध दवा ही लिखने निर्देशित किया गया है। तथा पीपीपी मोड पर संचालित सुविधाएं यथा सीटी स्कैन/एमआरआई/डायलिसिस आदि जन आधार कार्ड से राजस्थान के मूल निवासियों के लिए निशुल्क रहेंगी।
उक्त सुविधाएं एक माह के लिए ड्राई रन रहेंगी। तत्पश्चात समास्याओं का निकारकरण कर लागू किया जायेगा।
पीएमओ डॉ बाजिया ने बताया कि कल से ओपीडी का समय पर
प्रातः 8 बजे से 02 बजे तक रहेगा।
अस्पतालों में मरीजों की भीड़, BDK अस्पताल में डॉक्टर के चैम्बर खाली, लेडी डॉक्टर सुसाइड मामले को लेकर रोष
दूर-दराज से आने वाली मरीज हुए परेशान
झुुंझुनूं दौसा के लालसोट में डॉ. अर्चना शर्मा के सुसाइड मामले में दूसरे दिन भी डॉक्टरों ने कार्य बहिष्कार किया। अस्पताल में डॉक्टरों ने कोई कार्य नहीं किया। आपातकालीन सेवाओं के अलावा डाक्टर्स अपनी सीट पर ही नहीं बैठे। झुंझुनूं के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल बीडीके में मरीज तो अस्पताल पहुंचे, लेकिन डॉक्टर नहीं मिले। निजी अस्पतालों के डॉक्टरों ने भी हड़ताल का समर्थन किया और ओपीडी को बंद ही रखा।
अखिल राजस्थान सेवारत चिकित्सक संघ के प्रदेशाध्यक्ष डॉ. अजय चौधरी और महासचिव डॉ. शंकर बामनिया के आह्वान पर पूरे प्रदेश में चिकित्सक हड़ताल पर हैं। आरिस्दा के जिला प्रवक्ता डॉ. कैलाश राहड़ ने बताया कि डॉ अर्चना शर्मा को हत्या के झूठे मुकदमे में फंसा कर आत्महत्या के लिए बाध्य करने की घटना से राज्य का समस्त चिकित्सा समुदाय आहत है। दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई है। जिले के सभी चिकित्सक इस घटना के विरोध में आज दूसरे दिन भी हड़ताल पर दिखे
चिकित्सकों के हड़ताल पर होने के कारण मरीज परेशान हैं। सुबह से ही ओपीडी में मरीजों का तांता लगा, लेकिन डॉक्टर अपनी सीटों पर मौजूद नहीं हैं। मरीज गांवों से झुंझुनूं मुख्यालय आ गए हैं, लेकिन अस्पतालों में डॉक्टर नहीं हैं। निजी अस्पतालों में भी डॉक्टर ओपीडी में नहीं देख रहे हैं। बीडीके अस्पताल सहित जिले के अन्य अस्पतालों में सिर्फ आपातकालीन सेवा के अलावा समस्त चिकित्सा सेवाओं का बहिष्कार किया गया है।
झुंझुनूं। ब्राह्मण समाज झुंझुनूं ने दौसा जिले के लालसोट में निजी महिला चिकित्सक डॉ. अर्चना शर्मा के आत्महत्या प्रकरण पर निष्पक्ष जांच एवं दोषियों के विरुद्ध कड़ी से कड़ी कानूनी कार्रवाई करने की मांग को लेकर मुख्यमंत्री के नाम जिला कलेक्टर लक्ष्मण सिंह कुडी को ज्ञापन दिया। ज्ञापन देने वाले प्रतिनिधि मंडल का नेतृत्व पकौड़ियों की ढ़ाणी स्थित आश्रम के मंहत आकाश गिरी महाराज ने किया। गौड़ ब्राह्मण महासभा के प्रदेश मंत्री उमाशंकर महमियां ने बताया कि डॉ. अर्चना शर्मा की मौत के प्रकरण से जिले के ब्राह्मण समाज में व्यापक रोष है। समाज इस घटना की कड़े शब्दों में निंदा करता है। ब्राह्मण समाज सदैव शांति अनुशासन में रहने वाला समाज है। लेकिन इस प्रकार की घटना को बर्दाश्त नहीं करेगा। जल्द ही यदि इस मामले में कार्रवाई नहीं की गई तो जिले का ब्राह्मण समाज आंदोलनात्मक कार्रवाई करेगा। इस अवसर पर एडवोकेट महेश शर्मा, पवन शर्मा देरवाला, एडवोकेट सुशील जोशी, ललित जोशी, रामगोपाल महमिया, शिवचरण पुरोहित, विप्र फाउंडेशन महिला जिला अध्यक्ष ममता शर्मा, बालमुकुंद शर्मा, एडवोकेट हरीश जोशी, एडवोकेट कमल शर्मा, राकेश सहल, दिनेश शर्मा, नवल स्वामी, पुरुषोत्तम चौरसिया, रामचंद्र शर्मा पाटोदा, रतन चारणवासिया आदि समाज के गणमान्य लोग उपस्थित रहे।